हर्फ़-ओ-हिकायत: खेल के मैदान में सियासत का मास्टर स्ट्रोक
ध्यानचंद की लोकप्रियता का अंदाजा केवल इस बात से लगाइए कि वे आज से करीब सौ साल पहले 1928 के दौर के खिलाड़ी हैं। उनके बाद दारा सिंह, पीटी उषा, सुनील गावस्कर, कपिल देव और क्रिकेट के भगवान कहे जाने वाले सचिन तेंदुलकर जैसे बहुत से नाम आये, लेकिन वो अदब और वो सम्मान किसी को नहीं मिला दो दद्दा को मिला।
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