पुलिस दमन और गुंडागर्दी से किसान आंदोलन नहीं कुचला जा सकता: डॉ. सुनीलम
आजादी के बाद विपक्ष द्वारा सरकार की जनविरोधी नीतियों का विरोध करने पर कभी भी इस तरह की हिंसक कार्यवाहियां नहीं की गई जिस तरह भाजपा द्वारा की जा रही है। भाजपा की कार्यवाहियों से पता चलता है कि वह इस हद तक किसान विरोधी एवं लोकतंत्र विरोधी हो गई है कि वह किसानों को विरोध करने के संवैधानिक अधिकार के तहत धरना देने भी पसंद नहीं करती है।
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