लगातार सात घंटे तक चली किसान संगठनों के नुमाइंदों और कृषि मंत्री की वार्ता आज भी बेनतीजा समाप्त हो गयी और अगली तारीख दे दी गयी। दोनों पक्ष अब परसों यानी 5 दिसम्बर को फिर बैठेंगे। उस दिन किसान संगठनों ने देश भर में कृषि कानूनों का पुतला फूंकने का आह्वान किया है।
बैठक के दौरान आज सबसे दिलचस्प घटनाक्रम ये रहा कि किसान नेताओं ने सरकारी भोजन लेने से इनकार कर दिया और विज्ञान भवन में फर्श पर बैठकर अपने धरनास्थल से लाया भोजन खाया। तस्वीर में हरियाणा के किसान नेता भारतीय किसान यूनियन के गुरनाम सिंह चढ़ूनी को देख जा सकता है।
इस बार भी बैठक में वही 35 नेता शामिल हुए जो 1 दिसंबर की वार्ता में मौजूद थे। बुधवार की शाम संयुक्त किसान मोर्चा की ओर से जारी एक पत्र में सरकार से कहा गया था कि वह किसान संगठनों को वार्ता के लिए अपने नुमाइंदे चुनने की छूट दे। देर शाम सिंघू बॉर्डर पर हुई प्रेस कान्फ्रेंस में योगेंद्र यादव की मौजूदगी से इस बात की संभावना प्रबल थी कि आज की बैठक में वे भी शामिल होंगे।
सूचना है कि सरकार ने किसानों की कुछ मांगों पर विचार करने की बात कही है, हालांकि कुछ भी नतीजे के तौर पर अभी नहीं निकला है।
इस बीच टीकरी बॉर्डर से सूचना है कि वहां रैपिड ऐक्शन फोर्स के वाहन देखे गये हैं। टीकरी बॉर्डर पर शाम को जींद जिले से आए किसानों ने जमकर नारेबाज़ी की है। खाप पंचायतों के लोगों के वहां पहुंचने से हलचल बढ़ी है।